Sunday, December 12, 2021

एक आस साथ जुड़े रहने की

इसकी कल्पना की है एक नये समाज के रूप में जिसमे सब एक दूसरे के साथ हों। 

पहले हम गाँवो/छोटे शहरों मे रहते थे,आपसी सद्भाव, भाई-चारा और पारिवारिक सम्बन्धों की प्रगाढ़ता रहती थी.जिसका मुख्य कारण एक-दूसरे की मदद करना ही  होता था।
..संयुक्त परिवारों मे सब मिलकर काम करते थे. कमाई का एक बड़ा हिस्सा सबके लिये मिलकर खर्च किया जाता था ।
सब अपना-अपना निर्धारित कार्य करते थे ,किसी में ये भावना नहीं आती थी कि कि हम किसी दूसरे के लिये काम क्यों करें ?
क्यों अपनी कमाई का एक बड़ा हिस्सा उनपर खर्च करें जो कुछ काम नहीं करता या हमसे कम काम करता है .या हमसे कम कमाता है?
सिर्फ़ पैसा ही महत्वपूर्ण नहीं होता बल्कि एक-दूसरे के लिये कार्य करने  की भावना ,मिलजुल कर कार्य करेने की भावना का होना महत्वपूर्ण होता है ।
पड़ोसी को भी पड़ोसी के घर की सब खबर रहती थी.कि आज फ़लां बच्चा रास्ते मे किसके साथ कहाँ जा रहा था ..या  किसी ने बच्चे के हाथ सब्जी का झोला पहुचा दिया कि चाची को दे देना..या आज मुन्ना आपके यही खा लेगा..या...
 मै यहाँ उस  बच्चे की देखभाल कर लूँ जो यहाँ बाजू में कमरा लेकेर अकेला पढ़ने आया है और कोई और दूसरे शहर में  मेरे बच्चे की....

बहुत सी बातें है जो समय के साथ बदल चुकी है या खतम हो चुकी है ......हमें उसी सामाजिक वातावरण को फ़िर से बनाना है जो इंटर्नेट व ब्लॉगिंग के जरिये सम्भव है.... 

1 comment:

  1. Awesome article, it was exceptionally helpful! I simply began in this and I'm becoming more acquainted with it better! Cheers, keep doing awesome!

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